मनोज भाई न्याय का देवता को अपलोड करने का धन्यवाद् । कहानी अच्छी थी बस एक जगह पर शायद कहानीकार प्रशांत जी से चुक हो गई की पेज नंबर 4 पर तो दौलत राम के सब से छोटे बेटे राम को डाकू चौपट सिंह गोली मार देता है और फिर पेज नंबर 6 पर सेठ दौलत राम के बड़े बेटे राम की मौत हो जाती है। जबकि घर में मौत केवल एक ही व्यक्ति की हुई है। खैर कहानी अच्छी थी और आज के युग में अच्छी सीख भी देती है।
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ReplyDeleteमनोज भाई न्याय का देवता को अपलोड करने का धन्यवाद् ।
ReplyDeleteकहानी अच्छी थी बस एक जगह पर शायद कहानीकार प्रशांत जी से चुक हो गई की पेज नंबर 4 पर तो दौलत राम के सब से छोटे बेटे राम को डाकू चौपट सिंह गोली मार देता है और फिर पेज नंबर 6 पर सेठ दौलत राम के बड़े बेटे राम की मौत हो जाती है। जबकि घर में मौत केवल एक ही व्यक्ति की हुई है। खैर कहानी अच्छी थी और आज के युग में अच्छी सीख भी देती है।